बेजोड़ मुर्रा नस्ल की भैंस से डेयरी व्यापार करें साकार, 50 से 75 फीसदी तक खर्च भी उठा रही सरकार!

Murrah buffalo subsidy scheme

“पशुपालन ही किसानों की आय दुगुना कर सकता है।” देश के प्रधानमंत्री मोदी के इन्हीं शब्दों के अनुरूप मध्यप्रदेश सरकार पशुपालन को ग्रामीण अर्थव्यवस्था की धुरी बनाने के लिए कई योजनाएं संचालित कर रही है। सरकार ने अगले 5 सालों में प्रदेश का दुग्ध उत्पादन दोगुना करने का लक्ष्य रखा है और इस दिशा में डेयरी प्लस योजना बड़ी भूमिका निभा रही है। इस कड़ी में शामिल है मुख्यमंत्री डेयरी प्लस योजना जिसका प्रमुख उद्देश्य राज्य में दुग्ध उत्पादन को बढ़ावा देना और पशुपालन से जुड़े किसानो को आत्मनिर्भर बनाना है।योजना का फायदा लेने के लिए यह Blog पढ़ें ।

कितनी मिलती है सब्सिडी ?

दरअसल, मुख्यमंत्री डेयरी प्लस योजना दुधारु पशुओं के पालन से जुड़ी है । इस योजना के तहत अनुदान का लाभ उठा कर अच्छी नस्ल की भैंसें खरीदी जा सकती हैं जिससे दूध उत्पादन बढ़ेगा ।  Mukhyamantri deyari plus yojana 2025-26 के तहत दो मुर्रा भैंसों की कुल लागत करीब 2 लाख 95 हजार रखी गई है । इसमें सामान्य एवं पिछड़ा वर्ग को 50% सब्सिडी मिलती है। वहीं अनुसूचित जाति  व अनुसूचित जनजाति के लाभार्थियों को 75% तक सब्सिडी दिए जाने का व्यवस्था है। इस तरह सामान्य वर्ग के लाभार्थी को करीब 1,47,500 रुपए खुद जमा करने होते हैं, जबकि अनुसूचित जाति के लाभार्थी को केवल 73,700 रुपए ही लगाने होते हैं । बाकी की रकम सरकार द्वारा वहन की जाती है। इसमें पशुपालकों के आने-जाने का व्यय एवं बीमा आदि की राशि भी शामिल है। साथ ही सरकार लाभार्थी को 6 महीने का चारा भी उपलब्ध कराती है|

मुर्रा नस्ल की भैंस ही क्यों ?

आगे बढ़ने से पहले मुर्रा नस्ल (Murrah breed of buffalo) की खासियत भी जान लें । यह सबसे ज्यादा दूध देने वाली नस्लों (Highest milk yielding breed) में से एक है और जानकारों की मानें तो एक मुर्रा भैंस प्रतिदिन 10-12 लीटर तक दूध दे सकती हैं। हरियाणा की मुर्रा भैंस को वहां काला सोना भी कहा जाता है। किसी भी वातावरण में खुद को आसानी से ढालने की वजह से इसे बीमारियों का खतरा काफी कम होता है। मुर्रा भैंस के दूध में वसा की मात्रा भरपूर पाई जाती है जिससे उच्च क्वालिटी के डेयरी प्रोडक्ट्स का उत्पादन किया जाता है। मुर्रा भैंस में लगभग 10 महीने का गर्भकाल होता है और यह पूरे साल अच्छे दूध उत्पादन के लिए जानी जाती है |

कौन कर सकता है आवेदन ?

29 सितंबर, 2022 से शुरू हुई Mukhyamantree deyaree plas yojana 2025-26 की खास बात यह है कि लाभ केवल किसानों तक सीमित नहीं है बल्कि एक आम आदमी भी योजना का फायदा ले सकता है। इस तरह Chief Minister Dairy Plus Scheme 2025-26 किसानों के साथ ही युवाओं को रोजगार देने की दिशा में अहम भूमिका निभा रही है और कई युवा बेरोजगार अब डेयरी से अच्छा पैसा कमा रहे हैं। 

कैसे करें आवेदन ?

अपने नजदीकी पशु चिकित्सा कार्यालय से संपर्क करें । योजना से संबंधित फॉर्म भरें । साथ में मांगे गए आवश्यक दस्तावेज लगाएं । मंजूरी के बाद आपका नाम लाभार्थी सूची में जोड़ दिया जाएगा । तो यदि आप भी मध्यप्रदेश के ग्रामीण इलाके से हैं और पशुपालन व्यवसाय करना चाहते हैं तो इस योजना का लाभ उठाएं और दूध बेचकर अच्छी कमाई करें।

‘मिल्कीबून’ की मदद लें 

अगर आप गाय-भैंस से ज्यादा दूध पाना चाहते हैं तो Refit Animal Care का Milkyboon प्रयोग करें जो एक उत्तम feed supplement है । यह दूध बढ़ाने वाला पाउडर है जिसे चारे (आहार) के साथ मिलाकर देने से जल्द ही फायदे दिखने लगते हैं । इसमें कैल्शियम, फॉस्फोरस, विटामिन D3 एंजाइम, जीवंती और शतावरी का लाभदायक मिश्रण है, जिससे रोग प्रतिरोधक क्षमता बढ़ती है और हड्डियों-मांसपेशियों में सुधार आता है ।

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